गोरखपुऱ
बरहलगंज में पुल से कूदी छात्रा को नाविकों ने बचाया
बुधवार को दिन के 12 बजे के करीब एक और 18 वर्षीय युवती ने जान देने की नीयत से नदी में छलांग लगा दी, हालांकि पुल के बगल में स्थित मुक्तिपथ पर मौजूद नाविकों ने हमेशा की तरह बहादुरी का परिचय देते हुए समय रहते युवती की जान बचा ली। युवती की जान बचाने वाले बहादुर नाविकों को मुक्तिपथ के व्यवस्थापक कोषाध्यक्ष महेश उमर ने सम्मानित कर उनकी हौसला अफजाई किया।
गौरतलब हो कि बुधवार के दिन करीब 12 बजे विकासखंड बड़हलगंज स्थित खैरपार ग्राम निवासी 18 वर्षीय अंकिता पुत्री रामलक्षण ने पुल से बीच नदी में जान देने की नीयत से छलांग लगा दिया।
अंकिता को नदी में छलांग लगाते हुए देख मुक्तिपथ पर मौजूद नाविक भरत साहनी ने बिना एक पल गंवाए अपनी नाव से युवती की जान बचाने नदी की बीच धारा में उतर पड़े और नदी की बीच धारा में जीवन मृत्यु से संघर्ष कर रहे युवती की जान बचा कर उसे घाट पर लेकर आये। पूछने पर अंकिता ने बताया कि प्रेम प्रसंग में मिले धोखा की वजह से वह काफी आहत थी, इसी वजह से वह नदी में कूदकर जान देने की कोशिश की। हालांकि घटना की सूचना पर पुलिस भी मौके पर पहुंच गई। पुलिस ने युवती के पिता को बुलाकर युवती को घर भेज दिया।
बड़हलगंज- दोहरीघाट पुल पर आये दिन कूदकर जान देने की घटना कोई नई नहीं है, प्रत्येक सप्ताह ऐसी घटनाएं इस पुल पर होती रहती है। पुल को तो क्षेत्रीय लोगों ने सुसाइड प्वाइंट तक नाम दे दिया है। ऐसे में अक्सर पुल के दोनों साइड लोहे की ऊंची जाली लगाने की मांग अक्सर उठती रहती है। ऐसा मानना है कि जाली लगने के बाद इस प्रकार कूदकर जान देने की घटना पर लगाम लग सकता है। इसके लिए कई बार केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी से लेकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ तक मुक्तिपथ के व्यवस्थापक ने पत्र लिख चुके हैं। स्वयं मुक्तिपथ के अध्यक्ष व पूर्व मंत्री राजेश त्रिपाठी ने भी मुख्यमंत्री से मिलकर जाली लगाने हेतू मांग पत्र सौंप चुके हैं, लेकिन अभी तक इसपर कोई ठोस पहल नहीं की गई है।